
जिले में फाइलेरिया से 3700 लोग हैं प्रभावित 981 लोग हाइड्रोसिल और 2662 लोग हाथीपांव से है ग्रसित।
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जमुई। शुक्रवार को एक निजी होटल में एक कार्यशाला का आयोजन किया। कार्यक्रम में स्वास्थ्य पर चर्चा के दौरान पीओसीडी राकेश कुमार ने फाइलेरिया जैसे संक्रामक रोग पर जानकारी दी। उन्होंने बताया कि जमुई जिले में फाइलेरिया से लगभग 3700 लोग प्रभावित हैं, जिनमें 981 लोग हाइड्रोसिल और 2662 लोग हाथीपाँव से ग्रसित हैं। श्री कुमार ने फाइलेरिया से बचाव के उपायों पर जोर दिया, जैसे मच्छरदानी का उपयोग, साफ-सफाई और सामूहिक दवा सेवन (MDA) अभियान में भाग लेना। यह कार्यक्रम 10 फरवरी से शुरू होगा और इसके लिए व्यापक जागरूकता की आवश्यकता है।
कार्यशाला में गुंजन किशोर चौधरी और अभिषेक द्विवेदी ने भी अपने विचार साझा किए। कार्यशाला ने यह संदेश दिया कि सोल्यूशन जर्नलिज्म न केवल पाठकों को प्रेरित करेगा, बल्कि समाज में बदलाव लाने का एक प्रभावी माध्यम भी बन सकता है।पीरामल फाउंडेशन ने पत्रकारिता में सकारात्मक बदलाव लाने के उद्देश्य से एक कार्यशाला का आयोजन किया।
कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य पत्रकारिता में आने वाली चुनौतियों, उनके समाधान और सकारात्मक पत्रकारिता पर चर्चा करना था। कार्यक्रम की शुरुआत करते हुए पीरामल फाउंडेशन के शैलेन्द्र सिंह ने पत्रकारिता के बदलते स्वरूप पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि पाठक अब प्रेरणादायक और सकारात्मक खबरों को प्राथमिकता दे रहे हैं। यदि पत्रकार इस दृष्टिकोण को अपनाएं, तो न केवल उनकी खबरें अधिक प्रभावी बनेंगी, बल्कि समाज पर सकारात्मक प्रभाव भी पड़ेगा।
फाउंडेशन की सुपर्णा टाट ने शिक्षा, स्वास्थ्य और नीति आयोग के सूचकांकों के आधार पर जिला और प्रखंड स्तर पर चल रहे कार्यों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि फाउंडेशन का उद्देश्य समाज को बेहतर बनाना और समुदाय को विकास की मुख्यधारा से जोड़ना है।
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