
रसोईया को सरकारी कर्मचारी का दर्जा दे सरकार- सरोज चौबे
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भाकपा माले के जन संगठन बिहार राज्य विद्यालय रसोईया संघ ने आज विद्यालय रसोईया संघ के जिला सचिव मो हैदर ओर ऐक्टू के जिला संयोजक बासुदेव रॉय, रसोइया संघ के जिला अध्यक्ष इंदु देवी भाकपा माले के युवा नेता बाबु साहब सिंह के नेतृत्व में जवाहर हाई स्कूल मैदान से रसोईया को सरकारी कर्मचारी का दर्जा दो,साढ़े सोलह सो में दम नही इक्कीस हजार से कम नही,एनजीओ को मध्यान भोजन योजना से बाहर करो, साल के बारह महीनों का वेतन का भुकतान करो के नारे लगाते सैकड़ो रसोईया भारी बारिश में क्रांतिकारी तेवर के साथ शहर में मार्च करते हुए द्वारिका विवाह भवन में पहुँचा स्कूलों में काम करते दिग्वन्त हुये रसोईया को याद करते हुए शहीद वेदी पर पुष्प चढ़ाते हुए झंडातोलन किया और दूसरा जिला सम्मेलन की अध्यक्षता मोहम्द हैदर ने किया जबकि मंच संचलन इंदू देवी ने किया सम्मेलन को उद्घाटन करते हुए बिहार राज्य विद्यालय रसोईया संघ के राज्य अध्यक्ष सरोज चौबे ने सबसे पहले आशा कर्मीयो की चल रहे।
अनिश्चितकालीन हड़ताल को समर्थन देते हुए कहा कि आज हम अपना दूसरा जिला सम्मेलन ऐसे समय मे कर रहे है जब केंद्र की मोदी सरकार कारोना काल मे आपदा में अवसर का लाभ उठाते हुए मध्यान्ह भोजन योजना का नाम बदलकर प्रधानमंत्री पोषण योजना कर दिया और इसकी समय सीमा पांच साल के लिए निर्धारित कर दिया,इससे योजना संचालित करने में काफी जटिलता का सामना करना पड़ता है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सरकार जबसे आई है तब से कल्याण कारी योजनाओं में बजट की भारी कटौती जारी है। उन्होंने आजतक रसोइयों का एक पैसा भी नहीं बढ़ाया। इस मंहगाई के जमाने में 1650 रूपए में किसी परिवार का गुजर बसर कैसे हो सकता है। ऊपर से केवल दस महीने का ही मानदेय मिलता है। यह रसोईया के साथ शोषण का परकाष्ठा है
आगे उन्होंने कहा 13 अगस्त को केंद्र सरकार जनविरोधी नीतियों के खिलाफ रसोईया का तीसरा राज्य सम्मेलन किया जायेग और 9-10 सितंबर ऑल इंडिया स्कीम वर्कर्स फेडरेशन का सम्मेलन पटना के गेट पब्लिक आयोजित किया जाएगा। वहीं सम्मेलन को सम्बोधित करते हुए भाकपा माले के जिला सचिव शम्भू शरण सिंह ने कहा कि रसोईयो की स्थिति अभी भी दयनीय बनी हुईं है न तो उनको नियमित मानदेय मिलता है और न साल भर का भुगतान काम का दबाव बढ़ता जा रहा है वही सम्मेलन को सम्बोधित करते हुए माले के युवा नेता बाबू साहब सिंह ने कहा कि मोदी सरकार सबका साथ सबका विकास बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ की बात करते वही मणिपुर में जिस प्रकार महिला के साथ दुर्व्यवहार हुआ है उससे दुनिया मे देश का सम्मान शर्म से झुका गया और दूसरी तरफ स्कूलो में काम करने वाली रसोईया बहनों महज 47 रुपया में दिन भर स्कूलो में काम लेना बड़ी ही शर्म की बात है सम्मेलन को ऐक्टू के जिला संयोजक बासुदेव राय ने भी सम्बोधित किया
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